Monday, April 19, 2010

संसद की बिजली गुल, लालू बोलेः हीटर चला दिया क्या!


sansadji.com

संसद में आज विचित्र स्थिति देखने को मिली, जब राज्यसभा में विद्युत मंत्रालय के कामकाज पर चर्चा के दौरान दोनों सदनों में पूरे ही दिन बिजली की आंखमिचोली जारी रही तथा सदस्य बार- बार इसकी शिकायत करते रहे। हालांकि बाद में बिजली मंत्री सुशील कुमार शिंदे ने स्वीकार किया बिजली सब स्टेशन में गड़बड़ी के कारण यह स्थिति उत्पन्न हुई है।
संसद के दोनों ही सदनों में आज सुबह से ही बार-बार बिजली गुल हो रही थी। एक-दो बार तो ऐसी स्थिति भी बनी कि दोनों ही सदनों को आपात रोशनी में चलाया गया। बिजली कटौती के कारण सदन के एयरकंडीशनर नहीं चलने के कारण सदस्यों को भीषण गर्मी झेलनी पड़ी। राज्यसभा में बिजली मंत्रालय के कामकाज पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए बिजली मंत्री शिंदे ने बताया कि बिजली सब स्टेशन में तार जल जाने के कारण संसद में बिजली की आपूर्ति बाधित हुई है। आगे से इस बात का ध्यान रखा जायेगा कि संसद में निर्बाध बिजली आपूर्ति हो। इससे पूर्व चर्चा में भाग लेते हुए सदस्यों ने बार बार आंखमिचौनी कर रही बिजली की ओर मंत्री का ध्यान दिलाया। इसी बीच लालटेन निशान वाली पार्टी राजद के अध्यक्ष लालू प्रसाद ने कहा कि एसी बंद है, लगता है कि हीटर चला दिया गया है।

कापीराइट संशोधन विधेयक राज्यसभा में पेश इंटरनेट एवं डिजिटल प्रौद्योगिकी के मामले में देश के कापीराइट कानून को अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप बनाने और इसका उल्लंघन करने पर दो साल के कारावास की कठोर सजा देने के प्रावधानों वाले एक विधेयक को आज राज्यसभा में पेश किया गया। मानव संसाधन विकास मंत्री कपिल सिब्बल द्वारा राज्यसभा में पेश किये गये कापीराइट संशोधन विधेयक में इन प्रावधानों को शामिल किया गया है। विधेयक के कारणों एवं उद्देश्यों में कहा गया है कि भारत में साक्षरता, नाटक, संगीत एवं सृजनात्मक कामों से जुड़े इंटरनेट एवं कंप्यूटर नेटवर्क में कापीराइट सामग्री को संरक्षण देने के लिए मौजूदा कानून का संशोधन किया जा रहा है ताकि इसे अंतरराष्ट्रीय संधियों के अनुरूप बनाया जा सके। इसमें कहा गया कि विश्व बौद्धिक संपदा संगठन (डब्ल्यूआईपीओ), इंटरनेट संधि तथा डब्ल्यूआईपीओ परफार्मेस आफ फोनोग्राम्स संधि के जरिये डिजिटल प्रौद्योगिकी के अंतरराष्ट्रीय मानक तय किये गये हैं। विधेयक के एक प्रावधान के तहत शारीरिक रूप से अपंग व्यक्तियों के लिए एक विशेष प्रारूप बनाया गया है ताकि वे कापीराइट सामग्री तक पहुंच बना सकें।

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